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Friday, June 2, 2023

खर्राघाट पुल हुआ जर्जर बीच पुल में 8फीट बड़ा 4फीट गहरा गढ्ढा बना जानलेवा दुश्मन...



रेवांचल टाईम्स - प्रदेश में बड़ी तेजी से विकास चल रहा है और बड़ी तेजी हो रहे विकास की गुणवत्ता की अपनी पोल खुद बया कर रहे है कि आखिर कैसे इन निर्माण कार्यों में जिम्मेदारो की अनदेखी के चलते लोग असमय काल के गाल में समा रहे है, पुल बना हादसों का दुश्मन:- तेन्दूखेड़ा ब्लॉक के अंतर्गत आने वाले ग्राम खेरे पांजी से अजीतपुर खमरिया मार्ग पर बने गुरैया नदी पर बना पुल हुआ छतिग्रस्त आए दिन हो रहे हादसे दो दर्जन गांव को जोड़ता है पुल इस बारिश फिर बनेगी लोगों को परेशानी अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक ग्रामों के लोग कर चुके हैं शिकायत वह मांग फिर भी नहीं दे रहे ध्यान


    वही तेंदूखेड़ा ब्लॉक के मार्गों पर बने अधिकतर पुल जर्जर और छतिग्रस्त हो गए हैं। जिनके सुधार के लिए लोग लगातार मांग उठाते रहते हैं लेकिन खतरनाक होते जा रहे इन पुलों को सुधारने के लिए प्रशासन में बैठे अधिकारियों द्वारा कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा है। जिससे दिनों-दिन खतरा बढ़ रहा है और लगातार हादसे हो रहे हैं। कुछ पुल तो ऐसे हैं, जिनके ऊपर से निकलने पर वाहन चालकों को हादसा होने का डर सताता रहता है। ग्रामीण वर्षों से अधिकारियों को ज्ञापन और जनप्रतिधि को समस्याएं बताते आ रहे हैं, फिर भी इस ओर अभी तक किसी ने कोई पहल शुरू नहीं की है। ऐसा ही पांजी खेरा ग्राम से अजीतपुर, खमरिया सहित अन्य गांव को जोड़ने वाले मार्ग पर गुरैया नदी पर बने पुल का हाल है। ये पुल दो वर्ष पहले बारिश में बह गया था लेकिन उसमें आज तक सुधार कार्य तक नहीं किया गया। ये प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत बना था। जो तकरीबन 4-5 साल से जर्जर हालत में है। खर्राघाट पुल के पास 8 फीट चौड़ा और 4 फीट गहरा गड्ढा हो गया है

 दो वर्ष पहले बह गया था पुल के बीच का हिस्सा

दमोह - जबलपुर मार्ग से पड़ने वाले खेरे गांव से खमरिया- अजीतपुर जाने वाले मार्ग पर गुरैया नदी पर बना पुल दो दर्जन गांव को जोड़ता है। इस पुल के बीच का एक हिस्सा दो साल पहले आई बाढ़ में बह गया था। जिससे एक लंबा-चौड़ा व गहरा गड्ढा बन गया था, जो तभी से वैसा ही है। सुधार कार्य नहीं होने से गड्ढे का आकार लगातार बढ़ता जा रहा है। वर्तमान के इसका आकार तकरीबन 8 फीट चौड़ा, इतना की लंबा और करीब 4 फीट गहरा गड्ढा बना हुआ है, जो हादसों की वजह बन रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि दमोह मार्ग पर पड़ने वाले खेरे गांव के पास से खमरिया कला अजीतगढ़ सहित दो दर्जन गांव के लिए मार्ग पर गुरैया नदी पर बना हुआ पुल घटिया निर्माण के कारण दो वर्ष पहले बारिश के तेज बहाव के कारण बह गया था। जिसमें पुल के बीचों बीच बड़ा गड्डा बन गया था। पुल छतिग्रस्त हालत में पहुंच गया है। यहां पर लोगों को बारिश में परेशानियों का सामना करना पड़ेगा

 सूचना बोर्ड भी नहीं लगा पा रहा प्रशासन

इस मार्ग से गुजरने वाले कई लोग हादसे का शिकार हो चुके हैं क्योंकि जो बाहरी व्यक्ति है और इस मार्ग से जाता है तो रात्रि में पुल पर ध्यान नहीं होने के कारण सीधा पुल के बीचों बीच बने गड्ढे में जा गिरता है और गंभीर रूप से घायल हो जाता है क्योंकि इस पुल के दोनों ओर सूचना बोर्ड तक नहीं लगाया गया है। जिससे लोगों को संकेत मिल सके और पता हो की पुल खराब है और हादसे होने से बच सके। दो दर्जन गांव के लोगों द्वारा अधिकारियों को कई बार आवेदन और शिकायत सहित पुल बनाने के लिए मांग की जा चुकी है लेकिन अधिकारियों से लेकर जनप्रतिनिधि तक इस ओर ध्यान नहीं दे रहे हैं। लोगों का कहना है कि इस पुल के कारण एक युवक की मौत तक हो चुकी है, जो पुल के बीचो बीच बने गड्ढे में गिर गया था। लोगों ने जनहित में सूचना बोर्ड लगाने की मांग की है।

 जान जोखिम में डालकर निकल रहे वाहन चालक

ग्रामीणों ने कहा गुरैया नदी में पुल को खर्राघाट पुल के नाम से जानते हैं। जिस पर से सफर करना यानि जान जोखिम में डालना है। कई बार हादसे हो चुके हैं और जान भी गई है। दो वर्ष पहले बह चुके पुल की आज तक शासन-प्रशासन द्वारा मरम्मत और सुधार कार्य नहीं कराया गया है। जब ग्रामीणों को आवाजाही में परेशानी हुई तो लोगों ने पुल के आधे हिस्से में पत्थरों को भरकर मरम्मत किया और चलने के लायक बना लिया था लेकिन इस साल बारिश में ये मरम्मत भी बह जाएगी। पूरा पुल क्षतिग्रस्त हालत में है। ग्रामीणों ने कहा कि अभी भी आधा हिस्सा क्षतिग्रस्त है और पुल के बीचों बीच एक बड़ा गहरा गड्डा बना हुआ है, जो हादसे का कारण बन रहा है

 ऊंचाई कम, रेलिंग भी नहीं लगाई

स्थानीय निवासी बट्टू यादव ने बताया कि इस पुल से दो दर्जन गांव के लोगों का आना-जाना होता है। बारिश के दौरान गांव के लोग बीच में ही फंस कर रह जाते हैं। पुल की ऊंचाई कम होने से थोड़ी सी बारिश में पुल डूब जाता है। सबसे ज्यादा समस्या तब होती है। जब पुल पर एक हफ्ते तक पानी रहता है। पुल के दोनों ओर सुरक्षा के लिए रेलिंग तक नहीं लगाई गई है। अब ये पुल लोगों के लिए जान का दुश्मन बन कर रह गया है और ध्यान देने वाला कोई नहीं है। कुछ दिन बाद बारिश शुरू हो जाएंगी, इसके पहले शासन-प्रशासन से पुल की मरम्मत की मांग की है


 संबंधित अधिकारी से बात करूंगा

इस संबंध में तेन्दूखेड़ा एसडीएम अविनाश रावत का कहना है कि ये सड़क और पुल प्रधानमंत्री सड़क मार्ग है। मैं इस पुल के संबंध में प्रधानमंत्री सड़क योजना के अधिकारियों से बात करता हूं और पुल के निर्माण के लिए प्रोजेक्ट तैयार करने के लिए बोलता हूं।

             अभिनाश रावत एसडीएम तेन्दूखेड़ा/दमोह

          विशाल रजक तेन्दूखेड़ा/दमोह! की रिपोर्ट

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