रेवांचल टाइम्स - विद्युत सब स्टेशन कंट्रोल रूम में कार्यरत आपरेटरों ने श्रम अधिकारी व कलेक्टर मंडला को लिखित में शिकायत कर न्याय की गुहार लगाई है।ऑपरेटरों ने बताया कि 133/kv सब स्टेशन कंट्रोल रूम में विद्युय सप्लाई मेंटिनेंस का कार्य विभाग के द्वारा ठेकेदार को दिया गया है। ठेकेदार के अंडर में पिछले तीन वर्षों से लगातार कार्य कर रहे हैं।ठेकेदार अभी बर्तमान में अन्य ठेकेदार को पेटी में ठेका दे दिया गया है। पेटी ठेकेदार विभाग के उच्चाधिकारियों की सांठ गांठ से ऑपरेटरों को 6 हजार रुपये मासिक की दर से कार्य करने कहा जा रहा है जबकि मुख्य ठेकेदार के द्वारा पूर्व में अधिक राशि दी जा रही थी। इतनी कम राशि मे परिवार का गुजारा नही हो सकता इस कारण ऑपरेटर पूर्व की भाँति मजदूरी भुगतान में कार्य करना चाह रहे हैं।परंतु पेटी ठेकेदार के द्वारा ऑपरेटरों को काम से निकलने की धमकी दी जा रही है।ठेकेदार के द्वारा बाहर से दूसरे आपरेटरों को काम मे रखने की बात कर रहे हैं। सभी ऑपरेटर मण्डला जिले के है।और तीन वर्षों से कार्य कर रहे है। गरीब युवकों को वे रोजगार करने की धमकी देकर कम पैसो में काम करने को मजबूर किया जा रहा है।इस तरह का शोषण विभाग के अधिकारी की मिलीभगत से ठेकेदार के द्वारा किया जा रहा है।मण्डला में वैसे भी रोजगार की कमी है।मण्डला की पढ़े लिखे युवक काम की तलाश में अन्य राज्यो में भटकते है।जैसे तैसे मण्डला में इन युवकों को रोजगार मिला तो कम दाम में काम करने को मसजबूर किया जाता है।और बाहर के लोगों को अधिक रुपये देकर काम दिया जाता है यह कितना उचित है।अधिकारी युवकों को काम से निकालने गुमराह कर रहे हैं बोल रहे हैं कि ठेकेदार काम नही करना चाहता अब विभाग खुद काम करेगा अब आप इस महीने तक ही कार्य करेंगे।इस तरह युवकों को गुमराह कर काम से निकलने का सडयंत्र किया गया है जब ठेका निरस्त हुआ ही नही है तो विभाग कैसे काम करेगा।यह विचारणीय है।अगर ठेकेदार काम बीच मे छोड कर जाता है तो धरोहर राशि राजसात कर उसी राशि से ऑपरेटरों का भुगतान कर कार्य संचालित किया जा सकता है जब तक दूसरा टेण्डर नही हो जाता।लेकिन अधिकारी ऐसा कुछ भी नही कर रहे हैं। जिस पर कार्यरत ऑपरेटरों का रोजगार न छिन सके।ठेकेदार ओर अधिकारी की नीति से परेशान होकर सभी ऑपरेटर श्रम अधिकारी से शिकायत कर न्याय की गुहार लगाई है।श्रम अधिकारी ने यवकों को न्याय दिलाने की बात कही ऑपरेटर कुशल श्रमिक की श्रेणी में आते हैं और उन्हें उस दर से दैनिक मजदूरी दिलाई जाएगी रही बात काम से निकलने की तो उसके लिए भी श्रम कानून है।कानून के तहत विधिवत ऑपरेटरों को न्याय मिलेगा।
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